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घरों के जांच करते समय |
केंद्रीय टीम ने किया बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का किया निरीक्षण और उसिके साथ की बाढ़ ग्रस्त पीड़ितों के साथ बातचीत हुयी और नुकसान की हालचाल का भी निरीक्षणं किया गया है। बोहोत जल्द केंद्र सरकार को सौंपी जानेवली हे रिपोर्ट।
भंडारा मे केंद्र टीम आज 12 सितम्बर को भंडारा मे आचुकी है ओर जिले के क्षतिग्रस्त क्षेत्रों का निरीक्षण करने के लिए भंडारा के दौरे पर थे। जिले के भंडारा, पवनी और लाखांदुर तालुका के क्षतिग्रस्त इलाकों का निरीक्षण किया और ग्रामीणों से और किसानों से बातचीत की गई है।
केंद्र सरकार के ग्राम विकास विभाग के उप सचिव एस. एस. मोदी और महेंद्र सहारे केंद्रीय दस्ते में शामिल हैं। भंडारा जिले के बाढ़ प्रभावित इलाकों का दल ने किया निरीक्षण और केंद्र सरकार को अपनी रिपोर्ट पेश करेंगे।
जिलाधिकारी संदीप कदम, उप मंडल अधिकारी संदीप भास्के, तहसीलदार साहेबराव राठौड़, तहसीलदार पवानी निलिमा रंगरी, जिला अधीक्षक हिंडुराव चव्हाण, उप मंडल कृषि अधिकारी मिलिंद लैड, अरुण बालासाने व अधिकारी उपस्थित रहे।
किसानों और ग्रामीणों ने टीम के सदस्यों को बाढ़ से होने वाली क्षति को बताया और अधिकतम मदद की उम्मीद की। नागरिकों ने कहा कि घरों, खेती, झुंड, जानवरों और मुर्गियो का बहुत बड़ा नुकसान हुआ है। बेला-कोरुम्बी रोड पर 910 मीटर की सड़क में बाढ़ आ गई है और सड़क का निरीक्षण दल ने किया। इसी तरह घरों, खेतों और चरवाहों के पंचनामों की भी जांच की गई हे।
पिंडकेपर में सेवकरम साथवणे के किसानों से चर्चा की, ग्रामीणों ने कहा पिंडकेपर में धान को पूरी तरह से नुकसान हुआ है। उसके बाद भंडारा तालुका(जीला) में खमाटा में कृषि, घर और झील के नुकसान पर चर्चा की गई। खमाटा के किसानों ने कहा बाढ़ से मछली की खेती भी क्षतिग्रस्त हो गई है। टीम ने भी पूरी तरह से निरीक्षण किया और आंशिक रूप से ढह गए घरों का भी निरीक्षण किया।
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पवनी तालुका में पौना खुर्द पूरी तरह पानी के नीचे चला गया था। टीम ने इस गांव के घरों और झुंडों का निरीक्षण किया। पौना गांव के नागरिकों ने नदी के किनारे अपने दुख के टीम के सदस्यों के सामने रखा। तहसीलदार निलिमा रंगारी ने कहा कि गांव के सभी पंचानामा का कारण बन चुके हैं और तत्काल राहत वितरण शुरू हो चुका है।
पवनी तालुका में इसापुर में धान की खेती से क्षतिग्रस्त किसान विजय हरीशचंद्र वाणी के खेत का निरीक्षण किया। किसानों ने कहा कि 6 एकड़ खेत में पूरा धान क्षतिग्रस्त हो गया है। इस गांव में धान निर्माता किसानों को भारी नुकसान हुआ है।
पिंडकेपार, खमाता, पवानी तालुका पौना खुर्द, ईसापुर के गांवों में जाकर क्षति का लाइव निरीक्षण किया है। इस बैठक में टीम के सदस्यों ने क्षतिग्रस्त खेतों और घरों का दौरा किया और ग्रामीणों के साथ भी किसानों से बातचीत की और उनकी समस्याओ पर विचार किया। उन्होंने यह कहा कि जल्द ही केंद्र सरकार को नुकसान की पुरी जांच रिपोर्ट पेश की जाएगी।